इश्क के एक लम्हे की खातिर पूरी उम्र का सदका साथी !!
कि जो ठहरी है इन दो निगाहों में
वही छलके उन दो निगाहों से तो बात बने....
वही छलके उन दो निगाहों से तो बात बने....
कहीं गहरे बड़े अजब किस्म की उथल पुथल है...
बारिश तुम कब आओगी........।
बारिश तुम कब आओगी........।
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